दिल्ली

एयरपोर्ट एक्सप्रेस लाइन मेट्रो की रफ्तार 100 कि.मी. प्रति घंटे

अनुभव गुप्ता, नई दिल्ली
दिल्ली मेट्रो ने आज एक और ऐतिहासिक उपलब्धि हासिल की है। इसकी रफ्तार में और पंख लग गए और एयरपोर्ट एक्सप्रेस लाईन में मेट्रो ट्रेन की रफ्तार 100 किलो मीटर प्रति घन्टा हो गई है। इसकी जानकारी कॉर्पोरेट कम्युनिकेशन के चीफ एग्जीक्यूटिव डाइरेक्टर अनुज दयाल ने दी है। उन्होंने बताया की मेट्रो रेल सुरक्षा आयुक्त (सीएमआरएस) से अनिवार्य अनुमोदन मिलने के बाद एयरपोर्ट एक्सप्रेस लाइन की मेट्रो ट्रेनों की गति को 90 किलोमीटर प्रति घंटे से बढ़ाकर 100 कि.मी. प्रति घंटा यात्री सेवा के लिए शुरू कर दी गई है।

फिलहाल देश की सबसे ज्यादा स्पीड से चल रही नई दिल्ली से द्वारका सेक्टर-21 तक जाने वाली एयरपोर्ट एक्सप्रेसस लाइन अब एक और नई कीर्तिमान स्थापित की है। क्योंकि 100 किलोमीटर की रफ्तार हासिल करने वाली देश की इकलौती मेट्रो सेवा बन गई है। साथ ही बाद में क्रमबद्ध तरीके से मेट्रो ट्रेनों की गति को बढ़ाकर 120 किलोमीटर प्रति घंटा किया जाएगा।

देश के मेट्रो परिचालन के इतिहास में यह असंभव-सी लगने वाली उपलब्धि को हासिल करने में दिल्ली मेट्रो के एक्सपर्ट इंजीनियरों की दूरदर्शिता, बेहतरीन प्लानिंग और कर्मचारियों की मेहनत भी शामिल है। इस स्पीड को हासिल करने के लिए ज़रूरी गतिविधियां जैसे मेट्रो ट्रैक के कुछ पार्ट्स का बदलाव, सिविल ढांचों का नवीकरण और मेट्रो ट्रेन के अंदर भी कुछ टेक्निकल सुधार योजनाबद्ध तरीके से अंजाम दिए गए। जिसकता नतीजा यह रहा कि तय टार्गेट से काफी पहले मात्र छह महीनों में ही यह कार्य पूरा कर लिया गया।

मेट्रो अधिकारियों का कहना है, की ट्रेन परिचालन में यह एक ऐतिहासिक तकनीकी प्रगति है। क्योंकि परिचालन गति में वृद्धि करने के लिए ट्रैक संबंधी अनेक रखरखाव कार्य करते समय सुनिश्चित किया गया। जिससे की यात्रियों को न्यूनतम असुविधा हो।

इसके लिए पूरी मुख्य गतिविधि में इस रूट पर पटरियों पर लगे 2.6 लाख से अधिक मौजूदा टेंशन क्लैम्प्स को हाई फ्रीक्वेंसी टेंशन क्लैम्प्स के साथ बदलना शामिल था। जिससे इसे संशोधित गति के लिए और अधिक संगत बनाया जा सके।

अनुरक्षण टीम के लिए आबंटित अनुरक्षण ब्लॉक घंटों के भीतर पूरे कॉरिडोर में इन सभी क्लैम्प्स को बदलना बेहद चुनौतीपूर्ण कार्य था। हर ब्लॉक अवधि में इस कार्य के लिए 100 से अधिक स्टाफ नियुक्त किये गए जिससे यह सुचारू रूप से पूरा किया जा सका। टेंशन क्लैंप का बदलाव कार्य पूरा होने के बाद, हरेक फास्टनिंग को अच्छी तरह से जांचा गया। दिल्ली मेट्रो रेल कॉर्पोरेशन के विभिन्न संबंधित विंगों की इंजीनियरिंग टीम के प्रयासों से एयरपोर्ट एक्सप्रेस लाइन की अप और डाउन लाइनों (कुल 46 कि.मी.) पर यह कार्य केवल छह महीने के अंदर पूरा किया गया।

इस एयरपोर्ट एक्सप्रेस लाइन पर प्रतिदिन हज़ारों यात्री आते हैं, जिनमें बड़ी संख्या में अतंर्राष्ट्रीय पर्यटक भी होते हैं। इस बात पर विशेष ज़ोर दिया गया कि मेंटेनेंस कार्यों के दौरान यात्रियों को कम से कम परेशानी हो। कुछ सेक्शनों पर नान-पीक आवर्स के दौरान सिंगल लाइन ट्रेन मूवमेंट भी की गई और इसकी जानकारी यात्रियों को दिल्ली मेट्रो के सोशल मीडिया पोर्टल, प्रेस विज्ञप्ति और अनाउंसमेंट के द्वारा लगातार दी जाती रही।

एयरपोर्ट एक्सप्रेस लाइन पर मेट्रो ट्रेनों की परिचालन गति में हालिया बढ़ोतरी के बाद नई दिल्ली एयपोर्ट लाइन से द्वारका सेक्टर-21 मेट्रो स्टेशनों के बीच लगने वाला कुल यात्रा समय लगभग 21 मिनट हो जाएगा। इसके अलावा, भविष्य में 120 किमी प्रति घंटे की अधिकतम गति सीमा लागू होने के बाद, एयरपोर्ट एक्सप्रेस लाइन पर यात्रा का समय घटकर मात्र 19 मिनट हो जाएगा।

23 कि.मी. लंबी एयरपोर्ट एक्सप्रेस लाइन भारत में सबसे तेज़ मेट्रो कनेक्शन है, जो नई दिल्ली रेलवे स्टेशन से द्वारका सेक्टर-21 तक आईजीआई एयरपोर्ट टी-3 और एरोसिटी के माध्यम से कनेक्टिविटी प्रदान करती है। एयरपोर्ट एक्सप्रेस लाइन पर यात्रियों की प्रतिदिन औसत यात्रा संख्या लगभग 65,000 है।

Related Articles

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back to top button