UK पुलिस के कब्जे से छुड़ाया गैंस्टर,, क्राइम ब्रांच ने पहुंचाया तिहाड़
क्राइम ब्रांच के एजीएस यूनिट की टीम ने सद्दाम गौरी और नीरज बवानिया गैंग के एक्टिव मेंबर को हथियार के साथ गिरफ्तार किया है

क्राइम ब्रांच के एजीएस यूनिट की टीम ने सद्दाम गौरी और नीरज बवानिया गैंग के एक्टिव मेंबर को हथियार के साथ गिरफ्तार किया है। इसकी पहचान संग्राम उर्फ शक्ति गुर्जर के रूप में हुई है। यह विकास लगरपुरिया गैंग का एंटी है। विकास लगरपुरिया के चचेरे भाई अंकित गुलिया को जान से मारने की फिराक में था।यह उत्तराखंड पुलिस की कस्टडी से अमित भूरा नाम के गैंगस्टर को छुड़ाने में भी शामिल रहा है। जब उस बदमाश को मेरठ कोर्ट में पेश करने के लिए ले जाया जा रहा था।ज्वाइंट सीपी धीरज कुमार ने बताया कि एसीपी उमेश भरतवाल की देखरेख में पुलिस टीम ने इसे ट्रैप किया है। इसके पास से एक कंट्री मेड पिस्टल और दो जिंदा कारतूस बरामद किए गए हैं। यह दिल्ली में एक्सटॉर्शन के धंधे में शामिल था। अवैध शराब बेचने वाले, सट्टा चलाने वाले, रेस्टुरेंट वालों से रंगदारी मांगता था।इसके ऊपर पहले से 7 आपराधिक मामले चल रहे हैं। इसने 2018 में एक बदमाश जोगा की मां पर भी फायर किया था। अपने आपको सुपरमेसी दिखाने के लिए
पुलिस के अनुसार जब इसके बारे में सूचना मिली तो इंस्पेक्टर किशन कुमार, सब इंस्पेक्टर अनुज, सचिन आदि की टीम ने इसके बारे में पता लगाया और फिर इसे दबोचने में कामयाबी पाई।
पूछताछ में पुलिस को यह भी पता चला कि विकासपुरी में चलने वाले एक रेस्टोरेंट्स के ऑनर से प्रोटेक्शन मनी की डिमांड किया था। इसकी एक महिला दोस्त उसी बार में काम भी करती थी। उस रेस्टोरेंट्स ऑनर ने रंगदारी की रकम देने से मना कर दिया। और उसने इसकी जानकारी विकास लगरपुरिया गैंग को दे दी। विकास के नजदीकी अंकित गुलिया ने संग्राम सिंह को प्रोटेक्शन मनी देने से मना करवा दिया। जिसके बाद रेस्टॉरेंट के ओनर शंकर ने संग्राम को उसकी फीमेल फ्रेंड के सामने अपमानित भी किया।03 जुलाई को संग्राम अपने साथियों के साथ रेस्टॉरेंट में शंकर से अपने अपमान का बदला लेने भी गया था, लेकिन शंकर वहां नहीं मिला, और वहां अंकित गुलिया से उसका झगड़ा हुआ। जिसके बाद वो शंकर और अंकित गुलिया से बदला लेने के लिये हथियारों की व्यवस्था और गैंग मेंबर्स को अरेंज करने में लगा हुआ था।पुलिस को जांच में पता चला कि संग्राम के ऊपर पहले से साउथ केंपस, सागरपुर और क्राइम ब्रांच में अलग-अलग मामले दर्ज हैं। यह 12वीं तक की पढ़ाई कर चुका है। इसके पिता की 18 साल पहले मौत हो चुकी है, उसके बाद यह छोटे-मोटे क्राइम में शामिल हो गया। साल 2018 में यह तिहाड़ जेल में सद्दाम गोरी के संपर्क में आया और उसके बाद यह एक्टिव मेंबर बन गया।उसके बाद यह फिर केबल ऑपरेटर, अवैध शराब बेचने वाले, सट्टा चलाने वाले से एक्सटॉर्शन मनी मांगने लगा। आगे की और छानबीन क्राइम ब्रांच की पुलिस टीम कर रही है।